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भोपाल । पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल के नेतृत्व में मध्य प्रदेश में वायब्रेंट ग्राम सभा के माध्यम से ग्रामीण विकास योजनाओं में पारदर्शिता, जवाबदेही और जनभागीदारी को और अधिक सशक्त बनाया जा रहा है। मंत्री पटेल ने कहा है कि ग्राम सभा केवल औपचारिकता न होकर गांव की वास्तविक सरकार है, जो जनता के बीच बैठकर उनके लिए निर्णय लेती है। इस दृष्टि से प्रत्येक ग्राम पंचायत में ग्राम सभाओं को नियमित, सुव्यवस्थित और सहभागितापूर्ण बनाने के लिये विस्तृत दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं।
जनप्रतिनिधि और अधिकारियों की जवाबदेही होगी सुनिश्चित
जनसंपर्क अधिकारी आर.आर. पटेल ने सोमवार को जानकारी देते हुए बताया कि जारी निर्देशों के अनुसार प्रत्येक ग्राम सभा में विकास कार्यों की समीक्षा और अनुमोदन अनिवार्य होगा। जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों की उपस्थिति से योजनाओं की जवाबदेही सुनिश्चित होगी। नागरिकों की सक्रिय भागीदारी से योजनाओं के चयन और क्रियान्वयन में पारदर्शिता आएगी। सभी बैठकों का ऑनलाइन पंजीकरण और मॉनिटरिंग की व्यवस्था की गई है।
ग्रामीण अंचलों में विकास कार्यों को मिलेगी गति
मंत्री पटेल ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के मार्गदर्शन में मध्य प्रदेश ग्रामीण विकास की दिशा में नए आयाम स्थापित कर रहा है। वायब्रेंट ग्राम सभा इस दिशा में एक ऐतिहासिक पहल है, जो गांव-गांव में लोकतंत्र को सशक्त कर रही है। पटेल ने विश्वास व्यक्त किया कि यह पहल ग्रामीण अंचलों में विकास कार्यों को गति प्रदान करेगी और आत्मनिर्भर ग्राम की दिशा में ठोस कदम साबित होगी।
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