Dakhal News
21 November 2024उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इन दिनों अपने एक नारे की वजह से चर्चा के केंद्र में आ गए हैं। हरियाणा में हुए विधानसभा चुनावों के दौरान उन्होंने ‘बंटोगे तो कटोगे’ का नारा दिया था और अब झारखंड के साथ-साथ महाराष्ट्र में भी इस नारे की गूंज खूब सुनाई दे रही है। योगी के इस नारे ने दोनों राज्यों के चुनावों में किस कदर हलचल मचाई है इसका अंदाजा विपक्षी नेताओं की प्रतिक्रिया से ही लग जाता है। आइए, समझते हैं कि महाराष्ट्र और झारखंड के विधानसभा चुनावों में यह नारा क्यों हिट हो रहा है।
झारखंड में छाया बांग्लादेशी घुसपैठ का मुद्दा
झारखंड में इन दिनों बांग्लादेशियों की घुसपैठ का मुद्दा छाया हुआ है। इस मुद्दे की गंभीरता का अंदाजा इसी बात से लग जाता है कि विपक्ष के नेता इस पर खुलकर बोलते हुए नजर नहीं आते हैं। वहीं, बीजेपी का आरोप है कि बांग्लादेशी घुसपैठ की वजह से झारखंड के कई इलाकों में डेमोग्राफी तक बदल गई है और सनातन धर्म को मानने वाले लोगों के लिए परेशानी पैदा हो रही है। बता दें कि झारखंड के कई इलाकों में हालिया कुछ महीनों में सांप्रदायिक तनाव देखने को मिला है और यही वजह है कि योगी का ‘बंटोगे तो कटोगे’ का नारा जनता के दिलो-दिमाग में उतरता जा रहा है।
हेमंत सोरेन ने दिया योगी आदित्यनाथ को जवाब
झारखंड के चुनाव में छाए ‘बंटोगे तो कटोगे’ के नारे पर अब विरोधियों के जवाब भी आने लगे हैं। झारखंड की रैलियों में जब योगी ने अपने इस नारे के जरिए लोगों को एक रहने की अपील की तो कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने योगी को जवाब देने की कोशिश की। खरगे और सोरेन ने कहा कि बांटने और काटने वाला एजेंडा किसका है ये पब्लिक को अच्छी तरह पता है। सोरेन ने BJP की आलोचना करते हुए दावा किया कि राज्य में कोई भी हिंदू खतरे में नहीं है, लेकिन विपक्षी पार्टी केवल अपने हिंदू-मुस्लिम विमर्श के जरिए यहां तनाव पैदा करने की कोशिश कर रही है।
योगी के नारे से विपक्ष में क्यों मची हलचल?
आखिर योगी आदित्यनाथ ने नारे से विपक्ष में हलचल क्यों मची है? इसका सीधा सा जवाब हरियाणा में हाल ही में संपन्न हुआ विधानसभा चुनाव हो सकता है। योगी के इस नारे ने हरियाणा में निश्चित तौर पर हलचल मचाई थी और बीजेपी को एक हारी हुई बाजी जीतने में अपना योगदान दिया था। जब योगी ने झारखंड की अपनी हालिया चुनावी सभाओं में सोरेन की सरकार के करप्शन, माफिया को संरक्षण, लव जिहाद, लैंड जिहाद और बांग्लादेशी घुसपैठियों का मुद्दा उठाया तो जनता ने उनका समर्थन किया। लेकिन इन सभाओं में सबसे ज्यादा तालियां ‘बंटोगे तो कटोगे’ के नारे पर बजीं। सियासी जानकारों का मानना है कि इस नारे पर लोगों का रिएक्शन देखकर ही विपक्ष में हलचल मची है।
शिवराज ने दिया ‘जुड़ोगे, तभी बचोगे’ का नारा
योगी आदित्यनाथ की ही तर्ज पर केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी ‘जुड़ोगे, तभी बचोगे’ का नारा दिया है। उन्होंने लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि अगर झारखंड को बचाना है तो सभी को एकजुट होना होगा। दूसरी तरफ योगी की रैलियों में मुगलों और औरंगजेब का जिक्र भी जमकर हुआ। योगी ने कहा कि जिस तरह एक जमाने में ‘आलमगीर’ औरंगजेब ने देश को लूटा था, उसी तरह सोरेन सरकार में मंत्री आलमगीर आलम झारखंड को लूट रहे हैं। उन्होंने सोरेन सरकार पर सूबे में भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने का आरोप लगाते हुए कहा कि आलमगीर आलम जनता को लूटकर अपनी तिजोरी भर रहे हैं।
‘बांटने वाले लोग दूसरों को नसीहत दे रहे’
योगी और शिवराज को जवाब झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के साथ-साथ कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने भी दिया। खरगे ने कांके की रैली में योगी पर अटैक करते हुए कहा कि बांटने वाले लोग अब दूसरों को नसीहत दे रहे हैं कि बंटोगे को कटोगे। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा कि बांटने और काटने वाला एजेंडा RSS और बीजेपी का है, झारखंड के लोगों को इससे अलर्ट रहना चाहिए। वहीं हेमंत सोरेन ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि जो लोग वोट के लिए जनता को बांटने की कोशिश कर रहे हैं, वे हमेशा के लिए खत्म हो जाएंगे। उन्होंने कहा कि देश ऐसे लोगों को मंजूर नहीं करेगा।
महाराष्ट्र में भी छाया हुआ है योगी का नारा
योगी का ‘बंटोगे तो कटोगे’ का नारा सिर्फ झारखंड ही नहीं बल्कि महाराष्ट्र में भी खूब छाया हुआ है। बीजेपी के तमाम नेता ‘बंटोगे तो कटोगे’ का नारा लगा रहे हैं और लोगों से एकजुट रहकर वोट करने को कह रहे हैं। बीजेपी के नेताओं को लगता है कि मुसलमान तो एकमुश्त होकर उनकी पार्टी के खिलाफ वोट देते हैं, लेकिन हिंदू समाज जातियों में बंट जाता है और इसका फायदा पार्टी के विरोधी उठाते हैं। इसीलिए भारतीय जनता पार्टी के नेता चुनाव में हिंदू समुदाय के लोगों को बार-बार याद दिला रहे हैं कि अगर जातियों में बंटे तो फिर वैसा ही खतरा आ जाएगा जैसा बांग्लादेश में हिंदुओं के साथ आया।
Dakhal News
10 November 2024
All Rights Reserved © 2024 Dakhal News.
Created By: Medha Innovation & Development
|