Dakhal News
21 November 2024विश्व में जलवायु परिवर्तन और असंतुलन, विकास के साथ उपजी विडम्बनाएँ हैं। ग्लोबल साउथ देशों का इस असंतुलन में न के बराबर योगदान होने के बावजूद उनके द्वारा इनसे निपटने के लिये महत्वपूर्ण प्रयास किये जा रहे हैं। जी-20 के विशेष थिंक 20 कार्यक्रम के अंतिम दिन "ग्लोबल साउथ एण्ड ग्लोबल गवर्नेंस फॉर लाइफ" राउण्ड टेबल की अध्यक्षता करते हुए मॉडरेटर और कुलपति ऋषिहुड विश्वविद्यालय सोनीपत प्रो. शोभित माथुर ने कहा कि ग्लोबल साउथ भारत की आवाज है और ग्लोबल साउथ की प्राथमिकताएँ भारत की प्राथमिकताएँ हैं। पर्यावरण सम्मत जीवन-शैली, नैतिक मूल्य, सुमंगलम युक्त वैश्विक सुशासन के लिये ऐसे सरल, सहज मापदण्ड होना चाहिए जो हमारे समाज में सकारात्मक बदलाव ला सकें।
पेनलिस्ट में कार्यकारी निदेशक सेंटर फॉर पॉलिसी डायलॉग] बांग्लादेश डॉ. फहमिदा खातून, सीनियर इन्वेस्टिगेटर नेशनल काउंसिल फॉर साइंटिफिक एण्ड टेक्निकल रिसर्च, अर्जेंटीना डॉ. ग्लेडिस लेचनी, निदेशक विदेश नीति और अंतर्राष्ट्रीय विकास सहयोग, इंडोनेशिया डॉ. विस्नु उटोमो और लीड कोर्डिनेटर पॉलिसी ब्रिज टैंक प्रोग्राम, साउथ अफ्रीका सुश्री पामला गोपॉल शामिल थे। वही डॉ. खातून ने कहा कि राष्ट्रों के मध्य बने सहयोग और समन्वय से शासन के मुद्दे काफी महत्वपूर्ण हो गये हैं। सभी राष्ट्रों की आकांक्षाएँ अलग-अलग होने से आम सहमति के लिये अक्सर एक चुनौती बन जाती है। पर्यावरणीय चुनौतियों से निपटने के लिये इस पर ध्यान देने की जरूरत है। एक कुशल पर्यावरण प्रशासन प्रणाली स्थानीय समुदायों को शामिल करती है और सभी भागीदारों के बीच समझौतों को प्रोत्साहित भी करती है।
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17 January 2023
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